8th Pay Commission: भारत के सरकारी क्षेत्र में काम कर रहे लाखों कर्मचारियों के लिए वेतन आयोग का गठन एक निर्णायक क्षण होता है सातवें वेतन आयोग की सिफारिशें साल 2016 में लागू हुई थीं और अब सबकी निगाहें आठवें वेतन आयोग पर टिकी हैं हाल ही में इसके गठन की घोषणा ने उम्मीदें तो जगाईं हैं, लेकिन प्रक्रिया की धीमी गति ने कर्मचारियों के बीच चिंता भी बढ़ा दी है।
सरकार की घोषणा और समयसीमा में विलंब
जनवरी 2025 में केंद्र सरकार ने 8वें वेतन आयोग की स्थापना की घोषणा की थी परंतु, जुलाई के अंत तक आयोग के कार्यक्षेत्र और दिशा-निर्देश तय करने वाले Terms of Reference (ToR) को अंतिम रूप नहीं दिया गया है यह स्पष्ट करता है कि प्रारंभिक कार्यवाही में सरकार की तरफ से गंभीरता की कमी देखी जा रही है।
पिछली प्रक्रिया से तुलना
यदि हम 6वें और 7वें वेतन आयोगों की समयरेखा देखें, तो स्पष्ट होता है कि आयोग का गठन, रिपोर्ट सौंपना और कार्यान्वयन करने में लगभग दो वर्ष का समय लगा था परंतु आठवें वेतन आयोग के मामले में अभी तक प्रारंभिक ढांचे की ही पुष्टि नहीं हो सकी है।
वेतन आयोग | गठन वर्ष | रिपोर्ट प्रस्तुत | लागू होने की तिथि |
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6वां | 2006 | 2008 | अगस्त 2008 |
7वां | 2014 | 2015 | जून 2016 |
नियुक्तियों में देरी से कर्मचारी चिंतित
कार्मिक एवं प्रशिक्षण विभाग (DoPT) द्वारा अप्रैल 2025 में चार अपर सचिव स्तर के पदों के लिए आवेदन मांगे गए थे, लेकिन जुलाई के अंत तक अध्यक्ष सहित किसी की भी नियुक्ति नहीं हो पाई है इससे यह संकेत मिलता है कि आयोग के गठन में अब तक जो समय व्यतीत हुआ है, वह कर्मचारियों के हित में नहीं है।
वेतन वृद्धि का गणित और फिटमेंट फैक्टर
वेतन आयोगों में फिटमेंट फैक्टर एक प्रमुख भूमिका निभाता है यदि 7वें वेतन आयोग में इसे 2.57 निर्धारित किया गया था, तो आठवें में कर्मचारी वर्ग इसे बढ़ाकर कम से कम 3.0 करने की मांग कर रहा है इसका सीधा प्रभाव मूल वेतन और पेंशन दोनों पर पड़ेगा।
वर्तमान वेतन | फिटमेंट फैक्टर | नया वेतन |
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₹18,000 | 2.86 | ₹51,480 |
₹25,000 | 2.86 | ₹71,500 |
पेंशनभोगियों की स्थिति में सुधार
जो पेंशनर अभी ₹9,000 मासिक पेंशन ले रहे हैं, वे फिटमेंट फैक्टर लागू होने के बाद ₹25,740 की उम्मीद कर सकते हैं यह उन बुजुर्गों के लिए राहत की खबर हो सकती है जो स्वास्थ्य सेवाओं और महंगाई से जूझ रहे हैं।
कर्मचारी यूनियनों का बढ़ता दबाव
विभिन्न कर्मचारी संगठनों ने केंद्र सरकार से बार-बार अपील की है कि आयोग की नियुक्ति प्रक्रिया को शीघ्र पूर्ण किया जाए उन्होंने महंगाई के बढ़ते दबाव का हवाला देते हुए चेताया है कि यदि निर्णय में और देरी होती है, तो वे विरोध प्रदर्शन और हड़ताल जैसे कदम उठा सकते हैं।
निष्कर्ष: क्या 2028 तक मिलेगा नया वेतन ढांचा?
यदि आयोग का गठन अगस्त या सितंबर 2025 तक हो जाता है और रिपोर्ट तैयार होने में 18 से 24 महीने का समय लगता है, तो नए वेतनमान को लागू होने में 2028 की शुरुआत तक का समय लग सकता है ऐसे में कर्मचारियों को धैर्य के साथ आगे की प्रक्रिया का इंतजार करना होगा, लेकिन साथ ही वे सरकार पर दबाव बनाए रखने के लिए संगठित प्रयास भी करते रहेंगे।